Latest News
सी.एम.एस. में 22 नवम्बर से 54 देशों के राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, मुख्य न्यायाधीश व कानूनविद् पधारेंगे लखनऊरामस्वरूप मेमोरियल विश्वविद्यालय ने किया एक दिवसीय अंतर्राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजनभूस्खलन की वजह से 80 लोगों की मौत, केरल में दो दिनों का शोक, राहुल-प्रियंका जाएंगे वायनाडबंथरा ब्राह्मण हत्या काण्ड: दिवंगत रितिक पाण्डेय के परिवार से मिलेगा ब्राह्मण प्रतिनिधि मंडलकारगिल युद्ध में भारत की विजय को आज 25 साल पूरे Early News Hindi Daily E-Paper 7 July 2024UK आम चुनाव में ऋषि सुनक की करारी हार, लेबर पार्टी के कीर स्टार्मर नए प्रधानमंत्री7 जुलाई को गुजरात दौरे पर राहुल, गिरफ्तार कांग्रेस कार्यकर्ताओं के घर वालो से मिलेंगेEarly News Hindi Daily E-Paper 6 July 2024Early News Hindi Daily E-Paper 5 July 2024
Newsराज्यराष्ट्रीय

पीएम मोदी की कैबिनेट ने सर्वसम्मति से कृषि बिल वापस लेने का प्रस्ताव पास किया ।

नई दिल्ली : प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में केंद्रीय कैबिनेट की बैठक में तीनों कृषि कानूनों की वापसी के एेलान के बाद कल कैबिनेट बैठक में किसान कानून वापसी वाले बिल पर मुहर लग गई. कैबिनेट ने सर्वसम्मति से कृषि बिल वापस लेने का प्रस्ताव पास कर दिया गया है .
पीएम मोदी ने 19 नवंबर को राष्ट्र के नाम संबोधन में तीनों विवादित कृषि कानूनों को वापस लेने का एलान किया था. कृषि कानूनों को वापस लिए जाने के लिए बिल को कैबिनेट की ओर से मंजूरी मिल गई है. इसके बाद संसद के दोनों सदनों में पारित करवाया जाएगा और तीनों कृषि कानून विधिवत रूप से खत्म हो जाएंगे. माना जा रहा है मोदी कैबिनेट जल्द इन कानूनों की वापसी पर अपनी मंजूरी दे सकती है. कैबिनेट की बैठक पीएमओ में कल सुबह 11 बजे शुरू हुई थीं .
दोनों सदनों से बिल पारित करवाया जाएगा
संसद का शीतकालीन सत्र 29 नवम्बर से शुरू हो रहा है. संसदीय नियमों के मुताबिक किसी भी पुराने कानून को वापस लेने की भी वही प्रक्रिया है जो किसी नए कानून को बनाने की है. जिस तरह से कोई नया कानून बनाने के लिए संसद के दोनों सदनों से बिल पारित करवाना पड़ता है ठीक उसी तरह पुराने कानून को वापस लेने या समाप्त करने के लिए संसद के दोनों सदनों से बिल पारित करवाना पड़ता है.
एक नया कानून बनाकर ही पुराने कानून को खत्म किया जा सकता है. संसद सत्र में लोकसभा या राज्यसभा में तीन कानूनों के लिए या तो तीन अलग-अलग या फिर तीनों के लिए एक ही बिल पेश किया जाएगा. पेश होने के बाद चर्चा या बिना चर्चा के बिल पहले एक सदन से और फिर दूसरे सदन से पारित होने के बाद मंजूरी के लिए राष्ट्रपति के पास भेजा जाएगा. राष्ट्रपति की मंजूरी मिलते ही तीनों कृषि कानून निरस्त हो जाएंगे. बिल पारित होने में कितना समय लगेगा ये सरकार की प्राथमिकताओं पर निर्भर करेगा.

Show More
[sf id=2 layout=8]

Related Articles

Back to top button