ट्रंप ने C17 ग्लोबमास्टर से 104 भारतीयों को किया डिपोर्ट जिनमे 13 बच्चे भी शामिल
अर्ली न्यूज़ नेटवर्क।इंटरनेशनल डेस्क।अमेरिका का मिलिट्री प्लेन अवैध भारतीय प्रवासियों को लेकर भारत पहुंच चुका है. अमेरिकी C-17 ग्लोब मास्टर प्लेन से अवैध प्रवासी भारतीयों का पहला जत्था भारत पहुंचा. विमान में 104 भारतीय सवार हैं.
विमान अमृतसर एयरपोर्ट पर लैंड हो चुका है, जहां पुलिस और प्रशासन मुस्तैद हैं. अमृतसर डिप्टी कमीश्नर ने पुष्टि की कि बुधवार को दोपहर 1.59 बजे प्लेन अमृतसर एयरपोर्ट पर उतर गया.
एयरपोर्ट पर मौजूद अमेरिकी दूतावास के एक अधिकारी ने जानकारी दी कि प्लेन में कुल 104 भारतीय हैं जिनमें 79 पुरुष और 25 महिलाएं हैं. इनमें 13 बच्चे भी शामिल हैं. जिनमे से 33 लोग गुजरात से हैं जो अमृतसर एयरपोर्ट के भीतर ही रहेंगे और इन्हें वहीं से सीधे गुजरात भेजा जाएगा.
जानकारी के अनुसार, अमेरिका से डिपोर्ट कर लाए गए भारतीयों को मेक्सिको-अमेरिकी सीमा से पकड़ा गया था. कहा जा रहा है कि ये भारत से वैध तरीके से रवाना हुए थे लेकिन इन्होंने डंकी रूट के जरिए अमेरिका में घुसने की कोशिश की थी.
भारत पहुंचने पर इन लोगों की गिरफ्तारी का कोई आधार नहीं है क्योंकि इन्होंने किसी भी तरह से भारतीय कानूनों का उल्लंघन नहीं किया है.
इस प्लेन में पंजाब से 30, हरियाणा से 33, गुजरात से 33, महाराष्ट्र से 3, उत्तर प्रदेश के 3 और चंडीगढ़ के 2 लोग हैं. आपको बता दें कि अमेरिका में रह रहे अवैध प्रवासी भारतीयों को लेकर US एयरफोर्स के C-17 ग्लोबमास्टर एयरक्राफ्ट ने टेक्सास के पास अमेरिकी सैन्यअड्डे से उड़ान भरी. इस प्लेन में 104 अवैध भारतीय प्रवासी हैं.
बता दें कि ट्रंप सरकार अवैध प्रवासियों को ले जाने के लिए सैन्य विमान का इस्तेमाल करती रही है. इससे पहले ग्वाटेमाला, पेरू और होंडूरास में भी अमेरिकी मिलिट्री प्लेन से अवैध प्रवासियों को भेजा गया था.
बतादें कि 27 जनवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से फोन पर हुई बातचीत के बाद ट्रंप ने कहा था कि अमेरिका से अवैध प्रवासी भारतीयों को वापस भारत बुलाने के लिए भारत सही कदम उठाएगा. अनुमान के मुताबिक, अमेरिका में लगभग 18000 अवैध प्रवासी भारतीय हैं, जिन्हे भारत डिपोर्ट किया जाना है. ट्रंप के सत्ता में आने के बाद भारत सरकार ने इस समस्या को सुलझाने के लिए अमेरिका के साथ मिलकर काम करने की इच्छा जताई थी.
बता दें कि ट्रंप प्रशासन ने इससे पहले ग्वाटेमाला, पेरू और होंडूरास के अवैध प्रवासियों को भी उनके मुल्क भेज दिया था. अमेरिकी रक्षा मंत्रालय पेंटागन ने टेक्सास के अल पासो और कैलिफोर्निया के सैन डिएगो में हिरासत में रखे गए 5000 से अधिक अवैध अप्रवासियों को भी उनके देशों में भेजना शुरू कर दिया है.