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कोरोना फिर से उठने लगा, केंद्र सरकार ने उठाया ये कदम

नई दिल्ली। दक्षिण पूर्व एशिया और यूरोप के कुछ हिस्सों में कोरोना वायरस (Corona Virus) के फिर से सिर उठाने का हवाला देते हुए केंद्र सरकार ने राज्यों से कहा है कि वे इंफ्लूएंजा (Influenza)-जैसी बीमारी और सांस संबंधी (Respiratory Infections) गंभीर संक्रमण की फिर से निगरानी शुरू करें, ताकि किसी भी तरह के शुरुआती संकेत नजरअंदाज नहीं हो सकें और कोविड नियंत्रण में रहे.

इंफ्लूएंजा-जैसी बीमारी (ILI) और सांस संबंधी गंभीर संक्रमण (SARI) के मामलों की जांच सरकार के लिए कोविड प्रबंधन के स्तंभ रहे हैं. बहरहाल, इसकी जांच हाल में रोक दी गई थी, क्योंकि भारत में कोविड-19 के मामले कम आ रहे हैं. निगरानी बढ़ाने के तहत ILI और SARI से पीड़ित अस्पताल में भर्ती मरीजों की कोविड जांच कराई जाएगी और संक्रमित नमूनों को जीनोम अनुक्रमण के लिए भेजा जाएगा.

केंद्रीय स्वास्थ्य सचिव राजेश भूषण ने एक पत्र में सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों से यह सुनिश्चित करने के लिए कहा है कि कोविड के स्वरूपों का समय पर पता लगाने के लिए पर्याप्त संख्या में नमूने INSACOG नेटवर्क में जमा कराएं. उन्होंने प्रोटोकॉल के अनुसार जांच जारी रखने, सभी सावधानियों का पालन करने और आर्थिक और सामाजिक गतिविधियों को फिर से शुरू करते समय सतर्कता नहीं छोड़ने पर भी जोर दिया.

भूषण ने पत्र में कहा कि अगर मामलों के नए कलस्टर उभर रहे हैं तो प्रभावी निगरानी की जाए और  ILI और SARI मामलों की नियमों के तहत जांच की जाए और उन पर नजर रखी जाए ताकि किसी भी तरह के शुरुआती संकेत नजरअंदाज न हों और कोविड संक्रमण का प्रसार नियंत्रण में रहे.

उन्होंने कहा कि राज्य मशीनरी को आवश्यक जागरूकता पैदा करनी चाहिए और कोविड-उपयुक्त व्यवहार का पालन सुनिश्चित कराना चाहिए. भूषण ने पत्र में कहा दक्षिण पूर्व एशिया और यूरोप के कुछ देशों में कोविड-19 मामलों में बढ़ोतरी होने के मद्देनजर 16 मार्च को स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया की अध्यक्षता में एक उच्च स्तरीय बैठक हुई, जिसमें राज्यों को नमूनों का जीनोम अनुक्रमण कराने और कोविड की स्थिति की गहन निगरानी पर ध्यान केंद्रित करने की सलाह दी गई.

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